मुझे मेरे सही गुरु से पहला साक्षात्कार बी ए के दौरान हुआ. एमए करते - करते उनका पूरा आशीर्वाद मेरे साथ रहा. डॉ. ओम प्रभाकर देश के जाने माने साहित्यकार तो है ही साथ ही मुझे एक गुरु के रूप में उनका सानिध्य भी मिला यह मेरा सौभाग्य रहा. गुरु जी मै फ़िलहाल आपके सम्पर्क में नहीं हूँ , लेकिन आप जहां भी रहें हजारों साल जियें एक शिष्य के रूप में ईश्वर से मेरी यही कामना है.
क्या इस तरीक़े से हमेशा ज़िंदा रहना मुमकिन है? पुतिन और शी जिनपिंग की
बातचीत से शुरू हुई चर्चा
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चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ऑर्गन
ट्रांसप्लांट के ज़रिए इंसान की उम्र बढ़ाने की चर्चा करते दिखे. क्या वाकई
अंग प्रत्य...
51 मिनट पहले
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